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कई मत्रालय वसूलेंगे अखबार मालिको और मान्यता प्राप्त पत्रकारों से अपनी रकम – न्यूज़ पोर्टल भी सरकारी रडार पर ! —————————— धर्मेन्द्र मिश्रा

सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय भारत सरकार ( Ministry of information and broadcasting government of India ) अखबारो की पूरी तरहा से जांच – पड़ताल के बाद पाया की लगभग 80% ज़्यादा अखबार मालिको ने ,चोरी की खबरों को छाप और फर्जी सर्क्युलेशन दिखा कर अपने अखबारों को Directorate of Advertising and Visual Publicity में अखबार को इमपेनल करा कर , न सिर्फ सरकारी खजाने लूटा बल्कि सरकारी मान्यता प्राप्त कर ,घर , रेलवे,C.G.H.S .इत्यादी सुविधाओं को भोगते हुए ministry of railways government of India , ministry of health and family welfare government of India ,ministry of urban development government of india etc..कई मंत्रालयों को अखबार के नाम पर चुना लगया , अगर सूत्रों की माने तो अब सरकार इन सभी के खिलाफ कई भारतीय दंड संहिता की धाराओं के अंर्तगत कार्यवाही करने के साथ साथ पूरा पैसा ब्याज सहित वसूल करने पर भी विचार कर रही हैं , साथ न्यूज़ एजेंसी व् फोटो एजेंसी भी इनके खिलाफ अदालत जा सकती हैं , सरकार ने सभी न्यूज़ पोस्टल पर पूरी नज़र बनाई हुई हैं , अगर सूत्रों की माने तो जो गलती अखबार , मगज़ीन , वीकली आदि के मामले में हुई वही गलती सरकार न्यूज़ पोर्टल के मालले में नहीं करना चाहती हैं ! सूत्रों का कहना हैं की जिस तरहा 90 व् 2000 के दशक में अखबारों ,वीकली , मगज़ीन आदि की तो सिर्फ बाढ़ आई थी पर अब न्यूज़ पोर्टल की सूनामी आ गई हैं , इस सूनामी में असली ओर नकली का फर्क करना बहुत ज़रूरी हैं , सरकार न्यूज़ पोर्टल के लिए कई कड़े नियम व् क़ानून जल्दी बना सकती हैं।

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