30 C
Mumbai
Friday, June 2, 2023

आपका भरोसा ही, हमारी विश्वसनीयता !

मुलायम सिंह यादव का हुआ निधन : रक्षामंत्री की कुर्सी तक छात्र राजनीति से पहुंचे, पूरा सियासी सफर जानें

पूर्व मुख्यमंत्री और सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव का निधन हो गया। सैफई के रहने वाले मुलायम सिंह यादव ने राजनीति की शुरुआत केके डिग्री कालेज के पहले छात्र संघ अध्यक्ष के रूप में की थी। इसके बाद सहकारी बैंक के अध्यक्ष, सहकारिता मंत्री, मुख्यमंत्री, सांसद व रक्षा मंत्री बने। इसी बीच कई राजनैतिक दलों के महत्वपूर्ण पदों पर रहे और सही मौका देखकर अपनी पार्टी का गठन किया।

22 नवंबर 1939 में सुघर सिंह यादव के बेटे के रूप में जन्म मुलायम सिंह यादव ने जन्म लिया। शुरुआती शिक्षा गांव के परिषदीय स्कूल में हासिल की। 6 से 12 तक की शिक्षा उन्होंने करहल के जैन इंटर कालेज से हासिल की और बीए की पढ़ाई के लिए इटावा पहुंचे। इटावा में केकेडीसी कालेज में एडमिशन लिया और रहने के लिए जब बेहतर आसरा नहीं मिला तो कालेज के संस्थापक हजारीलाल वर्मा के घर में ही रहने का ठिकाना बना लिया। 1962 के इस दौर में प्रदेश में पहली बार छात्र संघ के चुनाव की घोषणा हुई और राजनैतिक रुचि रखने वाले मुलायम सिंह ने ये मौका हाथ से जाने नहीं दिया और ताल ठोंक दी। वह छात्र संघ के पहले अध्यक्ष बन गए। यहीं से राजनीति की शुरूआत करके एक युवा नेता के रूप में उभरकर

एमए करने के बाद बतौर शिक्षक काम किया
मुलायम ने एमए की शिक्षा लेने के लिए शिकोहाबाद के डिग्री कालेज में प्रवेश लिया। एमए करके करहल के जैन इंटर कालेज से बीटी की और कुछ समय तक जैन इंटर कालेज में बतौर शिक्षक काम किया, पर राजनैतिक दिलचस्पी रखने वाले मुलायम सिंह चुप नहीं बैठे।

28 साल की उम्र में ही बन गए विधायक
मुलायम की विधायक नत्थू सिंह से नजदीकियां बढ़ीं। नत्थू सिंह ने 1967 के विधानसभा चुनाव में जसवंतनगर की अपनी सीट छोड़कर मुलायम को सोशलिस्ट पार्टी से चुनाव लड़ाया और किस्मत के धनी मुलायम सिंह यादव 28 साल की उम्र में विधायक बन गए।

Latest news

ना ही पक्ष ना ही विपक्ष, जनता के सवाल सबके समक्ष

Related news

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here