चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग अगले हफ्ते ही रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मिलने मॉस्को जा सकते हैं। रूस-यूक्रेन युद्ध शुरू होने के बाद से ही चीन लगातार पुतिन के समर्थन में दिखा है। हालांकि, उसके राष्ट्रपति का यह दौरा अपने आप में काफी मायने रखता है। दरअसल, जहां यूक्रेन का साथ देने के लिए कई पश्चिमी देशों के राष्ट्राध्यक्ष कीव जा चुके हैं, वहीं रूस के राष्ट्रपति को अब तक किसी प्रमुख देश का साथ नहीं मिला है।
अमेरिका से तनाव ने रूस और चीन को लाया और करीब
विश्लेषकों का कहना है कि अमेरिका और चीन के रिश्तों में लगातार बढ़ते तनाव के बीच रूस और चीन के संबंध मजबूत होते गए। इसे लेकर अमेरिकी अधिकारियों के कान खड़े हो गए हैं। जर्मनी में हुए म्युनिख सुरक्षा सम्मेलन के दौरान जब अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन वांग यी से मिले, तो उन्होंने चेतावनी दी थी कि चीन रूस को हथियार ना दे। हालांकि रूस को हथियार देने की बात का चीन लगातार खंडन करता रहा है, लेकिन हाल में इस बारे में अमेरिकी खुफिया एजेंसियों का शक गहरा गया है।