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Monday, December 4, 2023
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बॉस ने मासिक धर्म पर की टिप्पणी, अब पीड़ित महिला को देने होंगे 37 लाख रुपये, जानिए क्या है मामला

एक बॉस को महिला के मासिक धर्म (Menopause) पर टिप्पणी करना महंगा पड़ गया है। दरअसल महिला ने अपने बॉस के खिलाफ मुकदमा दायर कर दिया था, सुनवाई के बाद अदालत ने बॉस को दोषी माना है और उसे क्षतिपूर्ति के रूप में महिला को 37 हजार पाउंड (करीब 37 लाख रुपये) का भुगतान करने का आदेश दिया है। घटना स्कॉटलैंड की है।

केरेन फ्रैकर्सन नामक एक महिला साल 1995 से स्कॉटलैंड के एर्डेनशायर के पीटरहेड इलाके में स्थित थिसल मरीन नामक इंजीनयरिंग फर्म में काम करती थी। महिला का आरोप है कि उसके बॉस ने उस पर अपने मासिक धर्म को लेकर बहाना बनाने की टिप्पणी की और उसे नौकरी छोड़ने को कह दिया। महिला ने बताया के दिसंबर 2022 में उसने दो दिनों तक घर से काम किया। इसकी वजह भारी बर्फबारी और उसका मासिक धर्म था। जब वह दो दिन बाद ऑफिस गई तो उसके बॉस और कंपनी के एमडी जिम क्लार्क ने उसके मासिक धर्म को लेकर टिप्पणी और उसकी मेडिकल समस्या को मानने से इनकार कर दिया। जिम क्लार्क ने कहा कि हर किसी को इससे दर्द और दिक्कत होती है। 

महिला ने कंपनी पर लगाए गंभीर आरोप
इससे नाराज होकर महिला ने अपने बॉस पर मुकदमा कर दिया। महिला का आरोप है कि कंपनी ने उसका उत्पीड़न किया और उसने अपने बॉस को समय के साथ ना बदलने वाला डायनासोर बताया। 40 वर्षीय महिला ने कहा कि 27 सालों तक कंपनी ने उससे कूड़े की तरह व्यवहार किया। दो बच्चों की मां पीड़ित महिला ने ये भी कहा कि उसकी कंपनी के बॉस अक्सर बीमार पड़ने वाले कर्मचारियों पर भी अपमानजनक टिप्पणी करते हैं। 

मामले की सुनवाई पूरी कर अदालत ने कहा कि जिम क्लार्क ने जिंदगी में काफी कुछ हासिल किया है और उनमें कई ऐसे गुण हैं, जिन्हें अपनाया जा सकता है लेकिन उनमें अपने कर्मचारियों के लिए संवेदनाएं नहीं हैं। इसके बाद अदालत ने कंपनी को पीड़ित महिला को 37 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया। अदालत ने कहा कि क्लार्क ने महिला की गरिमा को ठेस पहुंचाई है। 

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