रूसी विपक्षी नेता एलेक्सी नवालनी की मौत ने दुनियाभर के देशों को हैरान कर दिया था। जिसके बाद रुस के विरोधी देशों ने तमाम प्रतिक्रियाएं दी हैं। इस बीच, ब्रिटेन ने आर्कटिक पैनल कॉलोनी के प्रभारी वादिम कलिनिन पर प्रतिबंध लगा दिया है। बुधवार को सुनक सरकार ने इस बात की घोषणा की। नए प्रतिबंधों के तहत उनकी संपत्तियों को जब्त कर लिया जाएगा। गौरतलब है कि वादिम कलिनिन उस जेल के देखरेख कर रहे थे, जहां नवलनी को दो सप्ताह तक अकेले रखा गया था।
यूके फॉरेन, कॉमनवेल्थ एंड डेवलपमेंट ऑफिस (एफसीडीओ) के मुताबिक दावा किया गया कि तीन साल की जेल में नवलनी की हालत खराब हो गई थी और उन्हें चिकित्सा उपचार से जानबूझकर दूर रखा गया था। हिरासत के दौरान नवलनी को कई यातनाएं झेलनी पड़ी। ब्रिटेन के विदेश मंत्री डेविड कैमरन ने कहा कि यह स्पष्ट है कि रूसी अधिकारियों ने नवलनी को एक खतरे के रूप में देखा और उन्होंने उसे चुप कराने की बार-बार कोशिश की। रुस में शांतिपूर्ण राजनीतिक गतिविधियों के लिए उन्हें बंदी बनाया गया, जिसके बाद उन्हें आर्कटिक दंड कॉलोनी(आर्कटिक पैनल कॉलोनी) भेज दिया गया। जहां लंबे समय तक उन्हें बाह्य दुनिया से अलग-थलग रखा गया। डेविड कैमरन ने कहा कि वरिष्ठ जेल अधिकारी नवलनी की हिरासत के लिए जिम्मेदार है, जहां नवलनी ने अंतिम सांसे ली थी।
‘इस तरह के कृत्य के लिए किसी को तो जम्मेदार ठहराना होगा’
ब्रिटेन सरकार ने कड़े शब्दों में कहा कि नवलनी के साथ हुए क्रूर व्यवहार के लिए जिम्मेदार लोगों से सवाल पूछे जाएंगे, किसी न किसी को इसके लिए जवाबदेह ठहराएंगे। यूके फॉरेन, कॉमनवेल्थ एंड डेवलपमेंट ऑफिस (एफसीडीओ) ने कहा कि ब्रिटेन एक राजनीतिक कैदी नवलनी की मौत के जवाब में प्रतिबंध लगाने वाला पहला देश है, जिसने रूसी प्रणाली के भ्रष्टाचार को उजागर करने, स्वतंत्र और खुली राजनीति का आह्वान करने और क्रेमलिन को जिम्मेदार ठहराने के लिए अपना जीवन समर्पित कर दिया।
रुस में विपक्षी नेता की मौत पर ब्रिटेन आग बबूला
पिछले शुक्रवार को नवलनी की मौत के बाद एफसीडीओ ने कहा कि उसने रूसी सरकार के एक प्रतिनिधि को यह स्पष्ट करने के लिए बुलाया कि उसकी मौत की पूरी तरह और पारदर्शी तरीके से जांच की जानी चाहिए। रूसी शासन में जिम्मेदार लोगों को जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए। नवलनी के परिवार को उनके शव तक पहुंच से रोका जा रहा है। ब्रिटेन ने भी रूसी अधिकारियों से उनके शव को तुरंत देने की मांग की है।