रिपोर्ट – पप्पू लाल शर्मा
पंचायत पुनर्गठन मामला
जयपुर – 20 जिलों में कलक्टरों की लापरवाही, प्रभारी मंत्रियों ने भी नहीं दिखाई रूचि, नई प्रस्तावित पंचायतें नहीं हुई अधिसूचित, सचिन पायलट की अध्यक्षता में मंत्रिमंडलीय सब कमेटी की बैठक।
जयपुर
प्रदेश के करीब 20 जिला कलक्टरों की लापरवाही के चलते नई प्रस्तावित पंचायतों को अधिसूचित नहीं किया जा सका। इसके चलते सरकार को पुनर्गठन कार्यक्रम को 5 नवंबर तक खिसकाना पड़ गया है। मंत्रिमंडलीय सब कमेटी के सामने यह तथ्य आने के बाद नई पंचायत और पंचायत समितियों पर फैसला फिलहाल टल गया।
सब कमेटी की दूसरी बैठक शुक्रवार को उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट की अध्यक्षता में हुई। इसमें यह जानकारी सामने आई कि करीब 20 जिलों ने 51 ग्राम पंचायत बनाने के प्रस्ताव तो भेजे हैं, लेकिन उन्हें अधिसूचित नहीं किया। इसके साथ ही लोगों से आपत्ति भी नहीं ली गई। ऐसे में ऐसी पंचायतों के प्रस्ताव कोई काम के नहीं है। सूत्रों ने बताया कि नई पंचायतों के पुनर्गठन में जिला कलक्टरों के साथ जिलों के प्रभारी मंत्रियों ने भी रूचि नहीं दिखाई। उन्होंने इसको लेकर बैठकें भी नहीं की और साथ ही जनप्रतिनिधियों से आए प्रस्तावों पर चर्चा नहीं की।
ऐसे में यह पूरा कार्यक्रम जिला प्रशासन के भरोसे होकर रह गया। अब सब कमेटी ने सभी जिला कलक्टरों को नई प्रस्तावित पंचायतों और पंचायत समितियों के प्रस्तावों को अधिसूचित कर उन पर लोगों की आपत्ति लेने के निर्देश दिए गए। 5 नवंबर तक सब कमेटी ऐसे प्रस्तावों पर निर्णय लेकर राज्य निर्वाचन आयोग को इसकी प्रति भेजेगी। बैठक में सामाजिक न्याय मंत्री मास्टर भंवरलाल, राजस्व मंत्री हरीश चौधरी, सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना समेत कई अन्य अधिकारी मौजूद थे।